क्रिप्टोकरेंसी में नुकसान उठाने से कैसे बचें, जानिए क्या हैं एक्सपर्ट्स के सुझाव
कम लिक्विडिटी वाले क्रिप्टो को खरीदने से बचना चाहिए क्योंकि इन्हें बेचने में मुश्किल हो सकती है
क्रिप्टोकरेंसीज में उतार-चढ़ाव बहुत अधिक होता है। इसके साथ ही इनमें पैसा कमाने और गंवाने के भी मौके रहते हैं। अगर आप किसी सेलेब्रिटी के ट्वीट पर इनवेस्टमेंट कर रहे हैं या खुद को एक्सपर्ट्स बताने वाले किसी व्यक्ति की सलाह पर चल रहे हैं, तो आपको नुकसान हो सकता है। यहां आपको उन गल्तियों के बारे में बताया जा रहा है जिनसे आपको क्रिप्टोकरेंसीज में इनवेस्टमेंट करने पर बचना चाहिए।
एक्सपर्ट्स की सलाह पर पूरा भरोसा न करें, अपनी रिसर्च भी जरूरी
आपको कई ऑनलाइन साइट्स पर क्रिप्टो एक्सपर्ट्स की सलाह मिल जाएगी। आपको शायद यह जानकर हैरानी होगी किसी वास्तव में कोई क्रिप्टो एक्सपर्ट्स नहीं हैं। क्रिप्टोकरेंसीज में उतार-चढ़ाव बहुत अधिक होता है और इनके प्राइसेज का सही अनुमान नहीं लगाया जा सकता। इस वजह से खुद रिसर्च करनी चाहिए।
कम लिक्विडिटी वाली क्रिप्टोकरेंसीज से बचें
लिक्विडिटी अधिक होने पर ही क्रिप्टोकरेंसीज को आसानी से खरीदा या बेचा जा सकता है। अगर किसी क्रिप्टोकरेंसी में लिक्विडिटी कम है तो आपको उसे बेचने में मुश्किल होगी।
Cryptocurrency Investment: कितना सच है क्रिप्टोकरेंसी से एक झटके में अमीर बनने का सपना? फायदा होगा या नुकसान
Cryptocurrency Investment क्रिप्टोकरेंसी ने निवेश के लिए एक नया बाजार बनाया है। बिटकॉइन जैसी डिजिटल मुद्राओं के दाम 20000 डॉलर पहुंचने के साथ ही क्रिप्टोकरेंसी निवेशकों के लिए पैसा बनाने का आकर्षक जरिया बन गई है। लेकिन एक रातों-रात अमीर बनने का यह सपना कितना सच है?
नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) की लोकप्रियता दिन पर दिन बढ़ती ही जा रही है। पिछले कुछ समय से क्रिप्टोकरेंसी निवेशकों के लिए निवेश का बहुत ही आकर्षक विकल्प बन रही है। नए निवेशक क्रिप्टोकरंसी के नुकसान क्रिप्टोकरेंसी की तरफ तेजी से आकर्षित हो रहे हैं। ज्यादातर निवेशक इसकी चमक-दमक से अधिक प्रभावित हो रहे हैं।
लेकिन चूंकि यह निवेश का एक नया तरीका है और इसका कोई निश्चित ट्रैक रिकॉर्ड नहीं है तो ऐसे में यह जान लेना बहुत जरूरी है कि क्रिप्टोकरेंसी क्या है और इसमें निवेश करने से पहले आपको किन-किन बातों का ध्यान रखना चाहिए?
क्रिप्टोकरेंसी में निवेश
समझने वाली पहली महत्वपूर्ण बात यह है कि क्रिप्टोकरेंसी वित्तीय प्रणालियों और निवेश के आम तौर-तरीकों से काफी अलग है। हमारे देश में निवेश संबंधी तमाम नियम जो सुरक्षा प्रदान करते हैं, वह क्रिप्टोकरेंसी से संबंधित व्यापार में हासिल नहीं होती, क्योंकि इन करेंसी के एक्सचेंज वर्चुअल होते हैं। शेयर बाजार में निवेश करते समय आपको पता होता है कि आप किसके साथ काम कर रहे हैं, आपका पैसा क्रिप्टोकरंसी के नुकसान कहां जा रहा है या आपको बदले में क्या मिल रहा है, लेकिन क्रिप्टोकरेंसी के निवेश में आपको ये सारी सहूलियत नहीं होती।
इसलिए अगर आप क्रिप्टो में निवेश करने जा रहे हैं तो इस बात पर लगातार नजर रखें कि क्रिप्टो मार्केट में क्या हो रहा है। आए दिन फंड घोटाले की खबरों को देखते हुए आपको इसकी जानकारी होनी बहुत जरूरी है। क्रिप्टो में निवेश से पहले यह सुनिश्चित कर लें कि जिस निवेश विशेषज्ञ के साथ आप काम कर रहे हैं, वह पंजीकृत है। निवेश करने या न करने का निर्णय भावना में बहकर न लें।
स्कैम का कितना है खतरा
स्कैम की दुनिया के खिलाडियों को क्रिप्टो बहुत पसंद हैं, इसलिए धोखाधड़ी का गंभीर खतरा है। इससे सावधान रहें। नए लोग, जिनके पास अधिक जानकारी नहीं होती, वे स्कैमर्स के झांसे में आसानी से आ जाते हैं। जब किसी विशेष निवेश उत्पाद के बारे में बहुत अधिक चर्चा होती है, तो मंझे हुए व्यापारी ग्राहक से यह कहते हैं कि "हर कोई इसे खरीद रहा है"। यही हाल क्रिप्टो का है। बहुत सारी क्रिप्टोकरेंसी हैं जो वास्तविक नहीं हैं। जालसाजों ने क्रिप्टोकरेंसी क्षेत्र में लाभ की संभावना देखी है और उन्होंने लोगों के पैसे चुराने के लिए कुछ टोकन बनाए हैं। ये फर्जी डिजिटल टोकन भी तेजी से बढ़ रहे हैं।
विज्ञापन से प्रभावित न हों
आजकल कई सेलिब्रिटी भी सोशल मीडिया, रेडियो या टेलीविजन पर बिटकॉइन और अन्य टोकन की मार्केटिंग करते हुए नजर आ रहे हैं। आपको सलाह दी जाती है कि पूरी तरह से सेलिब्रिटी एंडोर्समेंट के आधार पर कोई निवेश निर्णय न लें। किसी सफल निवेशक को आंख मूंदकर फॉलो न करें।
इस मूल्यांकन का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि आप जिस सिक्के में निवेश कर रहे हैं, वह उन लोगों द्वारा समर्थित है, जो जानते हैं कि यह क्या है। इसे एक बुनियादी परीक्षा मानें। यह आपको एक ऐसी फर्म में निवेश करने से बचने में मदद कर सकती है जो केवल पैसा बनाने में दिलचस्पी रखती है।
जिम्मेदार और यथार्थवादी बनें
क्रिप्टो निवेश पोर्टफोलियो में हो तो सकता है लेकिन इसका जोखिम बहुत अधिक होता है। अपने पोर्टफोलियो का 10-20% क्रिप्टो में लगाएं, लेकिन सुनिश्चित करें कि जोखिम को कम करने के लिए आपके पोर्टफोलियो में विविधता बनी रहे। 1000 फीसद लाभ के चक्कर में न पड़ें। अपने निवेश के बारे में यथार्थवादी बनें ।
ब्लू चिप स्टॉक पर कितना भरोसा
अपने निवेश की गुणवत्ता, विश्वसनीयता और लचीलेपन को बरकरार रखने के लिए बिटकॉइन, ऐथर, एलटीसी जैसे ब्लू चिप स्टॉक से चिपके रहें। आईसीओ नए पेनी स्टॉक हैं। यदि आप उच्च जोखिम वाले निवेश का खतरा उठा सकते हैं तो आईसीओ के लिए जा सकते हैं।
अगर खुद निवेश कर रहे हैं, तो याद रखें.
आपकी पर्सनल कुंजी निजी ही रहनी चाहिए। उसे किसी के साथ साझा न करें। प्रतिष्ठित एक्सचेंजों और पर्स का प्रयोग करें। अपने लाभ और हानि को ट्रैक करें। चूंकि क्रिप्टो वैश्विक करेंसी है और अभी तक 'वास्तविक निवेश' के रूप में इसकी पहचान नहीं की गई है, इसलिए इसका कोई भी स्वरूप आभासी हो सकता है।
क्रिप्टोकरेंसी स्पेस आपको आकर्षक जरूर लग सकता है, लेकिन यह क्रिप्टोकरंसी के नुकसान एक बहुत ही अस्थिर निवेश है। इसमें किसी भी समय डाउनफॉल का जोखिम रहता है। सबसे बड़ी बात है कि शुरुआत के बाद इसमें कई तरह के घोटाले और फर्जीवाड़े हो चुके हैं। ऐसे में आप इसमें निवेश तभी करें जब आपके पास इस बाजार की ठीक-ठाक जानकारी हो। अगर आप सुरक्षित निवेश चाहते हैं तो एसआईपी, म्यूचुअल फंड या शेयर बाजार में जा सकते हैं। उतार-चढ़ाव यहां भी हैं, लेकिन क्रिप्टोकरेंसी वाली अनिश्चितता नहीं है।
Cryptocurrency: किसी को रातोंरात कर सकती है मालामाल तो किसी को कंगाल, जानिए क्रिप्टोकरेंसी के फायदे और नुकसान
What is cryptocurrency: क्रिप्टोकरेंसी को लेकर इन दिनों देश में एक बहस सी चल पड़ी है। खुद पीएम मोदी इसे लेकर आगाह कर चुके हैं। आरएसएस से जुड़े स्वदेशी जागरण मंच ने तो इसे लेकर कानून बनाने की मांग की है।
- देश और दुनियाभर में तेजी से बढ़ रहा है क्रिप्टोकरेंसी का चलन
- पीएम मोदी ने क्रिप्टो को लेकर जताई चिंता, कहा- ये जरूरी है कि सभी लोकतांत्रिक देश इसपर मिलकर काम करें
- क्रिप्टो किसी को भी घंटों के अंदर बना सकती है मालामाल तो कर सकती है कंगाल भी
Cryptocurrency's advantages and disadvantages: आज बात उस डिजिटल डेंजर की, जिसकी तरफ देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हाल ही में इशारा कर चुके हैं। सिर्फ इशारा नहीं बल्कि दुनिया के बड़े और ताकतवर मुल्कों को आगाह कर चुके हैं और इसका नाम है-क्रिप्टो करेंसी। बिटक्वाइन। वही बिटक्वाइन जो किसी की रातों रात मालामाल तो किसी को रातों रात कंगाल बना देती है। आने वाले वक्त में पीएम मोदी इस बाबत बड़ा कदम उठाने वाले हैं। इसका संकेत उन्होंने दो दिन पहले दे दिया था। अब एक्शन की बारी है।
पीएम ने खतरे को लेकर जताई चिंता
पीएम मोदी ने इसे लेकर चिंता जाहिर करते हुए कहा, 'क्रिप्टो करेंसी और बिटक्वाइन। ये जरूरी है कि सभी लोकतांत्रिक देश इसपर मिलकर काम करें और सुनिश्चित करें कि ये गलत हाथों में ना जाए, जो हमारे युवाओं को क्रिप्टोकरंसी के नुकसान बर्बाद कर सकता है।' क्रिप्टो करेंसी या बिट क्वाइन को लेकर प्रधानमंत्री ने ये चिंता दो दिन पहले सिडनी डायलॉग में चलाई। ना सिर्फ चिंता जताई, बल्कि दुनिया के सभी बड़े देशों को इससे आगाह भी किया। तो सवाल ये है कि आखिर बिटक्वाइन को लेकर प्रधानमंत्री का डर क्या है? पीएम ने क्रिप्टो करेंसी को लेकर अलार्म क्यों बजाया ? कौनसा खतरा है, जिसकी आहट हो चुकी है ?
क्या है क्रिप्टो करैंसी
आज आपको इन सभी सवालों का सिलसिलेवार तरीके से जवाब मिलेगा। लेकिन सबसे पहले ये जान लीजिए कि आखिर ये क्रिप्टो करेंसी है क्या ? जी हां ये वही क्रिप्टो करेंसी या बिट क्वाइन है, जो पूरी दुनिया को बहुत तेजी से अपनी गिरफ्त में लेती जा रही है। इस रफ्तार से कि कल्पना करना मुश्किल है।ये वही क्रिप्टो करेंसी है, जो भारत में लीगल नहीं है। बावजूद इसके भारत वो देश है, जो इस अदृश्य करेंसी में सबसे ज्यादा इन्वेस्ट कर रहा है। इसीलिए सवाल उठता है कि आखिर देश में इस डिजिटल करेंसी का फ्यूचर क्या है? क्या सरकार इसे बैन करेगी या कानूनी मान्यता देगी?
सबसे डरावना पहलू
खैर सरकार इस बाबत क्या करने वाली है, तो आने वाले वक्त में पता चलेगा, लेकिन इस करेंसी के कुछ अपने खतरे हैं। वो क्या. समझिए। इसके अपने खतरे तो हैं ही। चाहे वो सरकार के लिए हों या उन लोगों के लिए जो इसके जरिए रातों रात रईस बनने का सपना देख रहे हैं। लेकिन अब ये भी समझिए कि आखिर इस छिपे हुए या अदृश्य मनी को लाने के पीछे का मकसद क्या था? सबसे डरावना पहलू ये है कि जिस तरह से ये रुपया अदृश्य है, उसी तरह से इसे अस्तित्व में लाने वाला शख्स भी।
फायदा और नुकसान दोनों
2010 में एक बिट क्वाइन की कीमत सिर्फ 22 पैसे थे, लेकिन अब इसकी कीमत सुनेंगे तो दंग रह जाएंगे। इस क्रिप्टो करेंसी के खतरे क्या हैं, उसे भी समझिए। इन सब खतरों के बीच, प्रश्न ये है कि आखिर भारत में इस करेंसी का क्या भविष्य है। क्या सरकार इसे बैन करने वाली है, या कानूनी मान्यता देगी? भारत में क्रिप्टो करेंसी बैन होगी या नहीं, इसका जवाब आने वाले वक्त में मिलेगा, लेकिन दुनिया के कई देशों में ये बैन है। तो कहने का मतलब ये है कि क्रिप्टो करेंसी को लेकर सावधान रहने की जरूरत है। क्योंकि जितने इसके फायदे हैं, उतने ही नुकसान भी हैं।
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क्रिप्टोकरेंसी में पैसे लगाने से पहले जान लें इसके फायदे और नुकसान
क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) एक डिजिटल पेमेंट सिस्टम है जो ट्रांजेक्शन को वैरिफाई करने के लिए किसी भी बैंक पर निर्भर नहीं है। क्रिप्टोकरेंसी को फाइनेंशियल इन्फ्रास्ट्रक्चर में क्रांति लाने के इरादे से लॉन्च किया गया था। लेकिन, हर क्रांति के अपने फायदे और नुकसान होते हैं।
क्रिप्टोकरेंसी — क्रिप्टोग्राफी और ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी की देन है। आज, यहां आप पढ़ेंगे क्रिप्टोकरेंसी के कुछ फायदों और इससे होने वाले नुकसान के बारे में।
क्रिप्टोकरेंसी के फायदे
क्रिप्टोकरेंसी सबसे सिक्योर करेंसी मानी जाती है, क्योंकि यह क्रिप्टोग्राफी और ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी से मिलकर बनीं है।
क्रिप्टोकरेंसी पैसे के लिए एक नया सेंट्रलाइज्ड सिस्टम डिफाइन करती है। इस सिस्टम में ट्रांजेक्शन को वैरिफाई करने के लिए किसी भी बैंक पर निर्भर होने की जरूरत नहीं हैं। फलस्वरूप, समय और रिसॉर्स दोनों की बचत होती है।
क्रिप्टोकरेंसी किसी विश्वसनीय थर्ड पार्टी जैसे बैंक या क्रेडिट कार्ड कंपनी की जरूरत के बगैर, दो पार्टी के बीच सीधे फंड ट्रांसफर करना आसान बनाती है।
क्योंकि यह थर्ड-पार्टी मिडिएटर का उपयोग नहीं करती है, दो ट्रांजेक्शन करने वाली पार्टियों के बीच क्रिप्टोकरेंसी ट्रांसफर, स्टैंडर्ड मनी ट्रांसफर की तुलना में ज्यादा फास्ट होते हैं।
क्रिप्टोकरेंसी में इन्वेस्ट करने से लाभ मिल सकता है। क्रिप्टोकरेंसी मार्केट की वैल्यू पिछले एक दशक में आसमान छू गई है, एक पॉइंट पर तो यह लगभग 2 ट्रिलियन डॉलर तक पहुंच गई।
क्रिप्टोकरेंसी के नुकसान
क्रिप्टोकरेंसी की कीमतें बेहद अस्थिर हैं। दुनिया भर में 24×7 इस पर ट्रेडिंग चलती रहती है। अक्सर, किसी भी देश में नियामक कार्रवाई की फुर्ती से कीमतों में गिरावट आ सकती है। इसी तरह, अटकलें कीमतों को बढ़ा सकती हैं।
एक पीयर-टू-पीयर सिस्टम, जो किसी को भी, कहीं भी पेमेंट भेजने और प्राप्त करने में सक्षम बनाता है, होने की वजह से इस पर किसी भी बैंक, या सरकार का कंट्रोल नहीं है।
क्रिप्टोकरेंसी को लेकर दुनियाभर में सरकारें क्रिप्टोकरंसी के नुकसान एक मत नहीं है। कुछ देशों में सरकार ने इसे लीगल करार दे दिया है तो कहीं पर अभी भी इस पर कानून की तलवार लटकी हुई है।
मनी लॉन्ड्रिंग और अवैध खरीदारी जैसी नापाक गतिविधियों के लिए क्रिप्टोकरेंसी अपराधियों के लिए एक लोकप्रिय उपकरण बन गई है। कुछ रिपोर्ट्स ने डार्क वेब पर ड्रग्स बेचने के लिए इसका इस्तेमाल किए जाने के संकेत दिए हैं। क्रिप्टोकरेंसी भी हैकर्स की पसंदीदा बन गई है जो उनका इस्तेमाल हानिकारक गतिविधियों के लिए करते हैं।
क्रिप्टोकरेंसी का एक नुकसान यह है कि कोई भी इंटरनेट कनेक्शन वाले कंप्यूटर का उपयोग करके उन्हें माइन (खनन) कर सकता है। हालांकि, लोकप्रिय क्रिप्टोकरेंसी की माइनिंग के लिए काफी एनर्जी की जरूरत होती है, कभी-कभी उतनी ऊर्जा, जितनी कि पूरे देश में खपत होती है।
हालांकि क्रिप्टोकरेंसी ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी की वजह से बेहद सिक्योर है, लेकिन दूसरी क्रिप्टो रिपॉजिटरी, जैसे क्रिप्टो एक्सचेंज और वॉलेट को हैक किया जा सकता है। समय-समय पर कई ऐसी ख़बरें आईं हैं जब एक्सचेंज और वॉलेट को हैक कर लिया गया था, जिसके परिणामस्वरूप कभी-कभी लाखों डॉलर वैल्यू के "कॉइन" चोरी कर लिए गए।
निवेशकों को क्रिप्टोकरेंसी में निवेश करने से पहले विशेषज्ञ की सलाह लेनी चाहिए। यह सलाह दी जा सकती है कि निवेश करने से पहले अपने धन लक्ष्यों, जोखिम सहनशीलता और रिटर्न अपेक्षाओं के अनुरूप सावधानीपूर्वक निर्णय लें।
क्रिप्टोकरेंसी : 80 फीसदी छोटे निवेशकों ने झेला नुकसान, बड़ी मछलियों ने की कमाई
इन्टू द ब्लॉक (IntoTheBlock) और क्रिप्टो कम्पेयर (CryptoCompare) की स्टडी कहती है कि 73 प्रतिशत लोगों ने क्रिप्टो एक्सच . अधिक पढ़ें
- News18 हिंदी
- Last Updated : December 07, 2022, 18:14 IST
हाइलाइट्स
क्रिप्टो एक्सचेंज FTX के डूबने के बाद बिटकॉइन की कीमत काफी गिरी है.
लोगों ने तब निवेश किया जब बिटकॉइन 20 हजार डॉलर से ऊपर था.
फिलहाल यह क्रिप्टोकरेंसी 16 हजार डॉलर के आसपास है.
Cryptocurrency News : क्रिप्टोकरेंसी का मायाजाल काफी जटिल है. दूर से देखने पर आपको अच्छा महसूस हो सकता है, लेकिन जो इस जाल में फंसे, उन्हें नुकसान ही उठाना पड़ा. एक रिपोर्ट सामने आई है, जो कहती है कि दुनियाभर के लगभग 80 फीसदी निवेशकों ने पैसा गंवाया है. केवल निवेशक ही नहीं, एक साल के भीतर कई बड़ी क्रिप्टो एक्सचेंज बर्बाद हुई हैं.
इन्टू द ब्लॉक (IntoTheBlock) और क्रिप्टो कम्पेयर (CryptoCompare) के एक ताजा अध्ययन से खुलासा हुआ है कि 73 फीसदी यूजर्स ने कोई भी क्रिप्टो एक्सचेंज ऐप तब डाउनलोड की थी, जब बिटकॉइन की कीमत लगभग 20,000 डॉलर के ऊपर बनी हुई थी. इसी साल अक्टूबर के बाद बिटकॉइन का प्राइस 20 हजार डॉलर के नीचे आया है.
यह स्टडी कहती है कि यदि डाउनलोड करने वाले यूजर्स ने उसी दिन (डाउनलोड किए जाने के दिन) ही बिटकॉइन में पैसा भी डाला होगा तो उन्हें पक्के तौर पर नुकसान ही उठाना पड़ा होगा. लम्बे समय के निवेशकों के पोर्टफोलियो में अनरियलाइज्ड नुकसान (Unrealised Losses) दिख रहे हैं. क्रिप्टो एक्सचेंज FTX के डूबने के बाद बिटकॉइन की कीमत काफी गिरी है और यह फिलहाल 16,000 के आसपास सपोर्ट ले रही है.
छोटे निवेशक घुसे तो बड़े बेचते गए
ब्लॉकचेन का डेटा से पता चला है कि जब बिटकॉइन के प्राइस ऊपर की तरफ जा रहे थे तो छोटे निवेशक इसे खरीद रहे थे. ठीक इसी समय बड़े निवेशक (जिनके पास ज्यादा बिटकॉइन थे और जिन्हें व्हेल (Whales) या हम्पबैक (Humpbacks) भी कहा जाता है) बिटकॉइन बेच रहे थे. इन बड़े कॉइन होल्डर्स ने छोटे यूजर्स के जेब से बड़ी रकम निकाली. स्टडी में बिटकॉइन की बढ़ती कीमत ने 2015-2022 तक 7 साल की अवधि में दुनियाभर के 95 देशों में अलग-अलग आयु वर्ग के लोगों का ध्यान खींचा.
कहा गया है, “कुल मिलाकर, बैक-ऑफ-द-इनेवलप कैलकुलेन से पता चलता है कि लगभग तीन-चौथाई यूजर्स ने अपने बिटकॉइन निवेश पर पैसा खो दिया है.” समीक्षाधीन अवधि के दौरान, बिटकॉइन की कीमत अगस्त 2015 में 250 डॉलर से बढ़कर नवंबर 2021 में लगभग $69,000 पर पहुंच गई थी. इसके अलावा, इसी अवधि के दौरान क्रिप्टोकरेंसी खरीदने और बेचने के लिए स्मार्टफोन ऐप का उपयोग करने वालों की संख्या 1,19,000 से बढ़कर 32.5 मिलियन हो गई.
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